फेसबुक वॉल अक्टूबर 17, 2014 by Chakreshhar Singh Surya न कोई नज़्म है न कोई इश्तिहार ही ये दीवार भी मेरे दिल की तरह खाली ही है नज़दीक आकर देखो तो शायद कुछ महीन दरारें दिख भी जाएँ दिल में भी और दीवार में भी… ये पोस्ट औरों को भेजिए - Share on Facebook Share on X (Twitter) Share on WhatsApp Share on Telegram Share on SMS
dil kbhi khali nhi hota…
आप जब शून्य में पहुँच जाते हैं तो दिल-दिमाग सब खाली हो जाता है।