chakresh surya
कुछ मिला क्या?
ढूँढो कुछ, हाथ कुछ और लगता हैये मामला बड़ा पेंचीदा सा लगता है
फेसबुक वॉल
न कोई नज़्म है न कोई इश्तिहार ही ये दीवार भी मेरे दिल की तरह … Read more
हाथों की लकीरें
रात भर सुलगता रहा जलता भी रहा न चिंगारी थी न आग न धुआँ वहां … Read more
जैसे को तैसा
ज़िंदगी जब तुम्हारे मज़े लेने लगे,तो शिक़ायत मत किया करो,अमां यार, जब तुमने उसके लिये … Read more