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नज़्मालय

नज़्मों का घर

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pushphar surya

तुम्हारी छठी बरसी

December 8, 2012

ये तुम्हारा प्यार नहीं तो और क्या है, कि जिस दिन तुम गए, उस दिन … Read more

भैय्याजी का जन्मदिन

June 30, 2012

कुछ सालों पहले तक,आज का दिन,इतना खाली नहीं होता था,आज की तारीख लगते ही,घर का फ़ोन घनघना … Read more

तुम होते तो 27 के होते

June 30, 2010

माँ कहती है, आज अगर तुम होते तो 27 के होते,और तुम्हारे जन्मदिन पर, आज … Read more

दूसरी दुनिया बनाने की तैयारी

July 21, 2009

आप हमेशा खुश नहीं रह सकते, रहना भी चाहें तो वो आपको रहने नहीं देगी। … Read more

Chakresh Surya

चक्रेशहार सिंह सूर्या

बिखरे हुए बाल, बढ़ी हुई दाढ़ी,
माथे को जकड़े सच्चे-झूठे ख्याल,
ख़ुद को तलाश करती आँखें,
मुश्किलों में भी तनी हुई मूंछें,
बात-बेबात फूट पड़ती ख़ामोश सी हँसी,
और होंठों के पीछे अनकहे-अधूरे किस्से...
फ़िलहाल के लिए तो यही मैं हूँ।

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चवन्नी-अठन्नी-सोलह आना, टाइम मिले तो फिर आना
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